इथियोपिया क्यों बना है वैश्विक सुर्ख़ियों का केंद्र? – आर्थिक सुधार, संघर्ष और कूटनीति की पूरी कहानी

इथियोपिया: पूर्वी अफ्रीका का ऐतिहासिक देश इथियोपिया इन दिनों अंतर्राष्ट्रीय मंच पर खासा चर्चा में है। जहां एक ओर यह देश तेज़ी से आर्थिक सुधारों की दिशा में आगे बढ़ रहा है, वहीं दूसरी ओर आंतरिक संघर्ष, क्षेत्रीय कूटनीति और भू-राजनीतिक नीतियाँ भी इसे वैश्विक सुर्खियों में ला रही हैं। चाहे वह IMF से मिल रही आर्थिक सहायता हो, अमहारा क्षेत्र में जारी विद्रोह, या फिर सोमालिया और सोमालिलैंड के साथ तनावपूर्ण संबंध—हर पहलू यह दर्शाता है कि इथियोपिया केवल अफ्रीका ही नहीं, बल्कि पूरी दुनिया के लिए एक महत्वपूर्ण रणनीतिक बिंदु बनता जा रहा है। आइए जानते हैं, क्यों इथियोपिया पर आज सबकी निगाहें टिकी हुई हैं।

इथियोपिया
                      इथियोपिया

इथियोपिया, पूर्वी अफ़्रीका का विशाल देश, हाल ही में कई कारणों से सुर्ख़ियों में है। इनमें से कुछ मुख्य घटनाक्रम हैं:

1. आर्थिक सुधार और तेज़ विकास

  • IMF सहायता कार्यक्रम
    जुलाई 2024 में इथियोपिया ने अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) से $3.4 बिलियन के सहायता-पैकेज पर समझौता किया। इस कार्यक्रम के तहत मुद्रा का फ्लोटेशन, ऋण-संरचना, और आर्थिक ढाँचे में सुधार शामिल है। IMF ने मई 2025 में तीसरे समीक्षा स्तर पर कार्रवाई करके $260 मिलियन की अगली किश्त जारी करने की संभावनाओं को पुख़्ता किया है

  • आगामी आर्थिक विकास दर
    वित्त मंत्री अहमद शिदे के अनुसार, अगले वित्त वर्ष (8 जुलाई 2025 – 7 जुलाई 2026) में आर्थिक वृद्धि 8.9% की दर से होने की उम्मीद है, जो चालू वर्ष के 8.4% से भी अधिक है

  • बजट में जबरदस्त वृद्धि
    इथियोपिया की कैबिनेट ने 2025/26 वित्त वर्ष के लिए लगभग 2 ट्रिलियन बिर्र के बजट को मंज़ूरी दी है, जो पिछले वर्ष के 31% अधिक है

  • मुद्रास्फीति में गिरावट
    पिछले कुछ वर्षों में करीब 30% रही मुद्रास्फीति मार्च 2025 तक घटकर 13% हो गई है। IMF प्रोग्राम के तहत अगले वित्त वर्ष में यह स्तर 10% तक पहुंचने की संभावना है

इन सुधारों की वजह से इथियोपिया में निवेश और वैश्विक आर्थिक भागीदारी के अवसर बढ़ रहे हैं।

2. भूराजनीतिक और क्षेत्रीय वार्तालाप

  • इथियोपिया–सोमालिया संबंध
    दिसंबर 2024 में तुर्की की मध्यस्थता में अंकारा डिक्लेरेशन के तहत दोनों देशों ने द्विपक्षीय संबंधों को सामान्य करने का संकल्प लिया। यह समझौता सोमालिलाนด์ के समुद्री बंदरगाहों तक इथियोपिया की पहुंच से जुड़ी अशांत स्थिति को सुधारने हेतु था

  • सोमालिलाนด์ समझौता
    जनवरी 2024 में इथियोपिया और सोमालिलाैंड के बीच एक समझौता हुआ था, जिसमें इथियोपिया को रेड सी तक पहुंच प्रदान की गई थी। लेकिन इस पर सोमालिया ने आपत्ति जताई और फिर इसे अंकारा डिक्लेरेशन तक सीमित करना पड़ा

यह भू-राजनीतिक इच्छा इथियोपिया की चहुंमुखी रणनीति का हिस्सा है, ताकि उसे समुद्री मार्गों से आने-आने वाले व्यापार में हिस्सेदारी मिल सके।

3. आंतरिक सुरक्षा व संघर्ष

  • अमहारा क्षेत्र में संघर्ष
    अमहारा प्रांत में ‘फानो’ मिलिशिया और सरकारी सेनाओं के बीच अब 20 महीने से संघर्ष जारी है । मार्च–अप्रैल 2025 में विद्रोही समूह ने संभवतः वोल्लो और गोज्जाम क्षेत्रों में बड़े हमले किए, जिसके जवाब में सरकारी ड्रोन हमलों में कई नागरिकों के मारे जाने की घटनाएँ भी दर्ज की गईं

यह निरंतर संघर्ष क्षेत्र में अस्थिरता का कारण बन रहा है और सुरक्षा की दृष्टि से चिंताएँ बढ़ा रहा है।

4. बुनियादी ढांचे में विकास: GRD और शेगर सिटी

  • ग्रैंड इथियोपियन रेनसाँस डैम (GERD)
    इस विशाल बांध की पांचवीं और अंतिम तरीके से जलयोजन अक्टूबर 2024 में पूर्ण हुआ। इसे इस साल के दूसरे भाग में औपचारिक रूप से खोला जा सकता है, जिससे बिजली उत्पादन और ऊर्जा क्षमता में बड़ा इजाफा होगा

  • शेगर सिटी का विकास
    अदीस अबाबा के आसपास ‘शेगर सिटी’ नामक मेट्रोपोलिटन क्षेत्र का निर्माण योजनाबद्ध है। हालांकि, यह नीति स्थानीय जातीय एवं सामाजिक-आर्थिक विवाद उत्पन्न कर रही है, विशेषकर अम्हारा व ओरोमिया समुदायों के बीच संपत्ति और संसाधन वितरण को लेकर

5. वित्तीय बाज़ार के लिए नए अवसर

  • पहला स्टॉक एक्सचेंज (ESX)
    जनवरी 2025 में इथियोपिया का पहला सिक्योरिटीज एक्सचेंज शुरू हुआ, जिसमें वेगागेन बैंक पहली सूचीबद्ध कंपनी बनी। इसके पीछे उद्देश्य लघु व मझोले उद्यमों को पूँजीमार्ग प्रदान करना है

यह वित्तीय प्रणाली को आधुनिक बनाकर निवेशकों को आकर्षित करने और आर्थिक विविधता बढ़ाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है।

क्यों अब इथियोपिया के लिए दुनिया का ध्यान आवश्यक है?

इथियोपिया की स्थिति अब सिर्फ एक देश का आंतरिक मामला नहीं रह गयी है – यह:

  • IMF और वैश्विक वित्तीय बाज़ार में प्रवेश कर रहा है,

  • क्षेत्रीय राजनयिक और व्यापारिक संबंध स्थापित कर रहा है,

  • आंतरिक संघर्ष व इन्फ्रास्ट्रक्चर निर्माण में नए मोड़ लूँ रहा है,

  • और आर्थिक सुधारों के ज़रिए विकास-स्फूर्ति की राह पर अग्रसर है।

ये सब घटनाक्रम मिलकर इथियोपिया को अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर एक महत्वपूर्ण केंद्र बना रहे हैं— जिसका असर क्षेत्रीय राजनीति, अफ़्रीकी आर्थिक परिदृश्य, और वैश्विक निवेश प्रवाह पर पड़ेगा।

आगे का नजरिया यही है कि उन खास मसलों पर नज़र रखी जाए:

  1. IMF की अगली समीक्षा—कैसे इथियोपिया तीसरे ट्रांच के लिए तैयार होता है?

  2. GERD की परियोजना पूर्ति—किस समय इसका एलान होगा?

  3. अमहारा क्षेत्र के संघर्ष की स्थिति—क्या शांतिपूर्ण समाधान निकलेगा?

  4. शेगर सिटी के कामकाज—क्या यह स्थानीय विवादों में उलझ जाएगा?

  5. ESX की सूचीबद्धता—अगले कौन-कौन से उद्यम इसमें जुड़ेंगे?

इस तरह इथियोपिया एक परिवर्तनकारी दौर से गुजर रहा है, जो आर्थिक, राजनीतिक और सामाजिक क्षेत्र में गहरे प्रभाव छोड़ रहा है। समझदार देशों, निवेशकों और अंतरराष्ट्रीय संस्थानों के लिए यह समय नज़दीक से परखन और साझेदारी का है।

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